राजस्थान के मेले और त्यौहार
खंड 1:राजस्थान के प्रमुख मेले (Important Fairs)
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पुष्कर मेला किस माह में आयोजित किया जाता है और यह किस लिए प्रसिद्ध है?
(A) चैत्र, राम-सीता पूजन
(B) श्रावण, तीज माता
(C) कार्तिक, ऊँट क्रय-विक्रय
(D) माघ, हस्तशिल्प
पुष्कर मेला कार्तिक माह में आयोजित किया जाता है और यह ऊँट क्रय-विक्रय के लिए प्रसिद्ध है।
इसलिए, सही विकल्प है (C) कार्तिक, ऊँट क्रय-विक्रय।
पुष्कर मेला –
पुष्कर मेला, जिसे पुष्कर ऊँट मेला भी कहा जाता है, राजस्थान के पुष्कर शहर में प्रतिवर्ष आयोजित होने वाला एक प्रसिद्ध पशु मेला और सांस्कृतिक उत्सव है।
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आयोजन का समय: यह मेला कार्तिक पूर्णिमा के आसपास आयोजित होता है, जो अक्टूबर या नवंबर के महीने में पड़ता है।
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प्रसिद्धि: यह मुख्य रूप से ऊँटों के क्रय-विक्रय (खरीद और बिक्री) के लिए जाना जाता है, हालाँकि इसमें घोड़े और अन्य मवेशी भी लाए जाते हैं। यह दुनिया के सबसे बड़े ऊँट मेलों में से एक है।
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धार्मिक महत्व: पशु मेले के साथ-साथ, पुष्कर झील के किनारे होने के कारण इसका एक महत्वपूर्ण धार्मिक पहलू भी है। कार्तिक पूर्णिमा के दिन यहाँ पवित्र झील में स्नान करने और ब्रह्मा मंदिर (जो पुष्कर में स्थित है) के दर्शन का विशेष महत्व है।
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अन्य आकर्षण: मेले में विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम, लोक नृत्य, संगीत, खेल प्रतियोगिताएँ और हस्तशिल्प बाजार भी होते हैं।
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विश्व का सबसे बड़ा ऊँट मेला कहाँ आयोजित होता है?
(A) मेड़ता (नागौर)
(B) रामदेवरा (जैसलमेर)
(C) पुष्कर (अजमेर)
(D) कोलायत (बीकानेर)
विश्व का सबसे बड़ा ऊँट मेला पुष्कर (अजमेर) में आयोजित होता है।
इसलिए, सही विकल्प है (C) पुष्कर (अजमेर)।
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पुष्कर मेला, जिसे पुष्कर ऊँट मेला भी कहा जाता है, राजस्थान के अजमेर जिले के पुष्कर शहर में प्रतिवर्ष कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर आयोजित किया जाता है।
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यह दुनिया के सबसे बड़े ऊँट और पशुधन मेलों में से एक है और देश-विदेश के पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण का केंद्र है।
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कोलायत मेला (बीकानेर) किस तिथि को आयोजित होता है और किस संत से जुड़ा है?
(A) चैत्र पूर्णिमा, संत पीपा
(B) कार्तिक पूर्णिमा, कपिल मुनि
(C) भाद्रपद पूर्णिमा, जांभोजी
(D) माघ पूर्णिमा, संत मावजी
कोलायत मेला (बीकानेर) कार्तिक पूर्णिमा को आयोजित होता है और यह कपिल मुनि से जुड़ा है।
इसलिए, सही विकल्प है (B) कार्तिक पूर्णिमा, कपिल मुनि।
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तिथि: यह मेला प्रतिवर्ष हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक पूर्णिमा (अक्टूबर-नवंबर) के दिन आयोजित होता है।
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संत/ऋषि: यह मेला सांख्य दर्शन के प्रणेता कपिल मुनि की तपोस्थली पर लगता है।
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महत्व: इस अवसर पर श्रद्धालु कोलायत झील, जिसे कपिल सरोवर भी कहते हैं, में पवित्र स्नान करते हैं और शाम को झील में दीपदान (दीपक प्रवाहित करना) करते हैं। इसे बीकानेर का एक बड़ा पशु मेला और धार्मिक आयोजन माना जाता है।
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बेणेश्वर मेला (डूंगरपुर) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) माघ अमावस्या
(B) फाल्गुन पूर्णिमा
(C) माघ पूर्णिमा
(D) चैत्र शुक्ल प्रतिपदा
बेणेश्वर मेला (डूंगरपुर) माघ पूर्णिमा को आयोजित होता है।
इसलिए, सही विकल्प है (C) माघ पूर्णिमा।
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बेणेश्वर मेला राजस्थान के डूंगरपुर जिले में सोम, माही और जाखम नदियों के संगम पर स्थित बेणेश्वर धाम पर आयोजित होने वाला एक विशाल वार्षिक जनजातीय मेला है।
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यह मेला हिंदू पंचांग के अनुसार माघ शुक्ल एकादशी से शुरू होकर माघ पूर्णिमा के दिन मुख्य रूप से आयोजित होता है।
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इसे ‘आदिवासियों का कुंभ मेला’ भी कहा जाता है, जहाँ बड़ी संख्या में भील जनजाति के लोग पवित्र नदियों के संगम में स्नान करने और बेणेश्वर महादेव के दर्शन करने आते हैं।
बेणेश्वर मेला 2025 महाकवरेज: अच्युतानंद महाराज ने किया शाही स्नान, श्रद्धालुओं का उमड़ा सैलाब यह वीडियो बेणेश्वर मेले के धार्मिक महत्व और माघ पूर्णिमा पर होने वाले शाही स्नान को दर्शाता है।
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गोगाजी का सबसे बड़ा मेला किस जिले में आयोजित होता है?
(A) हनुमानगढ़
(B) हनुमानगढ़ (गोगामेड़ी)
(C) चूरू (ददरेवा)
(D) बीकानेर
गोगाजी का मेला राजस्थान के दो प्रमुख स्थानों पर आयोजित होता है, जो दोनों ही विकल्प में दिए गए हैं, लेकिन मुख्य और सबसे बड़ा मेला हनुमानगढ़ जिले के गोगामेड़ी नामक स्थान पर भरता है।
विकल्पों के संदर्भ में:
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(B) हनुमानगढ़ (गोगामेड़ी): यह वह स्थान है जहाँ गोगाजी की समाधि है और सबसे बड़ा एवं प्रसिद्ध मेला भरता है।
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(C) चूरू (ददरेवा): यह गोगाजी का जन्म स्थान है और यहाँ भी मेला भरता है।
चूँकि विकल्प (B) उस स्थान (गोगामेड़ी) को इंगित करता है जहाँ सबसे बड़ा और मुख्य मेला आयोजित होता है, इसलिए यह सबसे सटीक उत्तर है।
सही विकल्प है: (B) हनुमानगढ़ (गोगामेड़ी)।
अतिरिक्त जानकारी:
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मुख्य मेला: गोगाजी का सबसे बड़ा मेला गोगामेड़ी (जिला हनुमानगढ़) में भरता है। इसे गोगामेड़ी मेला कहा जाता है।
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जन्म स्थान का मेला: गोगाजी के जन्म स्थान ददरेवा (जिला चूरू) में भी मेला भरता है।
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आयोजन तिथि: दोनों स्थानों पर मेला भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की नवमी (गोगा नवमी) से शुरू होकर लगभग एक माह तक चलता है।
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राजस्थान का प्रसिद्ध ‘केला देवी मेला’ किस जिले में आयोजित होता है?
(A) सवाई माधोपुर
(B) करौली
(C) धौलपुर
(D) भरतपुर
राजस्थान का प्रसिद्ध ‘केला देवी मेला’ करौली जिले में आयोजित होता है।
इसलिए, सही विकल्प है (B) करौली।
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केला देवी मंदिर राजस्थान के करौली जिले में त्रिकूट पर्वत पर स्थित है।
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यह मेला प्रतिवर्ष चैत्र मास में नवरात्रि के दौरान आयोजित होता है, जिसे केला देवी का लक्खी मेला भी कहा जाता है, क्योंकि इसमें लाखों श्रद्धालु भाग लेते हैं।
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बाणगंगा मेला (जयपुर) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) फाल्गुन पूर्णिमा
(B) वैशाख पूर्णिमा
(C) चैत्र पूर्णिमा
(D) कार्तिक पूर्णिमा
बाणगंगा मेला (जयपुर) वैशाख पूर्णिमा को आयोजित होता है।
यह मेला जयपुर जिले के बैराठ (विराटनगर) के निकट बाणगंगा नदी के तट पर प्रतिवर्ष वैशाख माह की पूर्णिमा (अप्रैल-मई) के दिन भरता है।
इसलिए, सही विकल्प है (B) वैशाख पूर्णिमा।
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सीताबाड़ी का मेला (बारां) किस जनजाति का सबसे बड़ा मेला है, जिसे ‘सहरियाओं का कुंभ’ कहते हैं?
(A) भील
(B) मीणा
(C) सहरिया
(D) गरासिया
सीताबाड़ी का मेला (बारां) सहरिया जनजाति का सबसे बड़ा मेला है, जिसे ‘सहरियाओं का कुंभ’ कहते हैं।
सही विकल्प है: (C) सहरिया।
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सीताबाड़ी मेला राजस्थान के बारां जिले की शाहबाद तहसील के केलवाड़ा गाँव के पास सीताबाड़ी नामक स्थान पर आयोजित होता है।
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यह मेला विशेष रूप से सहरिया जनजाति के लिए धार्मिक और सामाजिक महत्व रखता है, यही कारण है कि इसे “सहरियाओं का कुंभ” या “सहरिया जनजाति का महातीर्थ कुंभ” कहा जाता है।
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यह मेला ज्येष्ठ अमावस्या को आयोजित होता है।
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इस मेले में सहरिया जनजाति के लोग अपने मृत व्यक्तियों का पिंडदान और अस्थि विसर्जन भी करते हैं, जो इसके धार्मिक महत्व को दर्शाता है।
बारां जिले में आदिवासियों के लघु कुंभ सीताबाड़ी मेले का हुआ आगाज इस वीडियो में सीताबाड़ी मेले के आरंभ और सहरिया आदिवासी जनजाति के लिए इसके महत्व को दिखाया गया है।
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‘ढाई दिन का झोंपड़ा’ (अजमेर) में किस संत का उर्स (मेला) लगता है?
(A) ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती
(B) पंजाब शाह पीर
(C) नरहड़ पीर
(D) हमीदुद्दीन नागोरी
‘ढाई दिन का झोंपड़ा’ (अजमेर) में पंजाब शाह पीर का उर्स (मेला) लगता है।
सही विकल्प है: (B) पंजाब शाह पीर।
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ढाई दिन का झोंपड़ा अजमेर में स्थित एक ऐतिहासिक इमारत (मस्जिद) है, जिसका निर्माण कुतुबुद्दीन ऐबक ने करवाया था।
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माना जाता है कि इसका नाम इसलिए पड़ा क्योंकि यहाँ पंजाब शाह पीर नामक संत का ढाई दिन का उर्स (मेला) लगता था।
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यह उर्स आज भी प्रतिवर्ष आयोजित होता है।
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खाटू श्याम जी का मेला किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) भाद्रपद शुक्ल एकादशी
(B) फाल्गुन शुक्ल एकादशी
(C) कार्तिक शुक्ल एकादशी
(D) चैत्र शुक्ल एकादशी
खाटू श्याम जी का प्रसिद्ध लक्खी मेला प्रतिवर्ष फाल्गुन शुक्ल एकादशी के अवसर पर आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) फाल्गुन शुक्ल एकादशी।
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यह मेला राजस्थान के सीकर जिले में स्थित खाटू श्याम जी के मंदिर में फाल्गुन शुक्ल पक्ष की षष्ठी (छठ) से लेकर द्वादशी (बारस) तक चलता है।
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मेले का सबसे महत्वपूर्ण दिन फाल्गुन शुक्ल एकादशी (ग्यारस) होता है।
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पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, इसी दिन महाभारत काल के वीर बर्बरीक (जिन्हें भगवान श्री कृष्ण ने ‘श्याम’ नाम दिया था) ने अपना शीश भगवान कृष्ण को दान किया था।
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यह मेला लाखों भक्तों के आगमन के कारण “लक्खी मेला” के नाम से जाना जाता है।
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खंड 2: प्रमुख त्यौहार (Important Festivals)
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‘गणगौर’ त्यौहार किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) चैत्र कृष्ण तृतीया
(B) चैत्र शुक्ल तृतीया
(C) श्रावण शुक्ल तृतीया
(D) भाद्रपद शुक्ल तृतीया
‘गणगौर’ त्यौहार चैत्र शुक्ल तृतीया तिथि को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) चैत्र शुक्ल तृतीया।
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‘गण’ का अर्थ है भगवान शिव और ‘गौरी’ या ‘गौरा’ का अर्थ है माता पार्वती।
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यह त्यौहार मुख्य रूप से राजस्थान में मनाया जाता है और यह सौभाग्य और दाम्पत्य सुख का प्रतीक है।
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यह पर्व होली के अगले दिन चैत्र कृष्ण प्रतिपदा से शुरू होकर 16 दिनों तक चलता है और इसका समापन चैत्र शुक्ल तृतीया को होता है, जिसे ‘गौरी तृतीया’ भी कहते हैं।
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इसी दिन सुहागिन स्त्रियाँ अपने पति की लंबी आयु और कुँवारी कन्याएँ अच्छे वर की कामना के लिए व्रत रखती हैं और ईसर-गणगौर (शिव-पार्वती) की पूजा करती हैं।
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‘छोटी तीज’ (या हरियाली तीज) किस माह में मनाई जाती है?
(A) चैत्र
(B) श्रावण
(C) भाद्रपद
(D) वैशाख
‘छोटी तीज’ (या हरियाली तीज) श्रावण माह में मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (B) श्रावण।
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छोटी तीज जिसे हरियाली तीज के नाम से भी जाना जाता है, श्रावण (सावन) मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाई जाती है। 🌿
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यह मुख्य रूप से राजस्थान और उत्तर भारत के कुछ हिस्सों में मनाया जाने वाला महिलाओं का एक प्रमुख त्यौहार है।
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इस तीज को प्रकृति और मानसून के आगमन से जोड़ा जाता है, इसलिए इसे ‘हरियाली तीज’ कहते हैं।
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इस दिन विवाहित महिलाएँ अपने पति की लंबी उम्र के लिए व्रत रखती हैं और भगवान शिव तथा माता पार्वती की पूजा करती हैं।
ℹ️ संबंधित तथ्य
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राजस्थान में एक और महत्वपूर्ण तीज मनाई जाती है जिसे ‘बड़ी तीज’ या ‘कजली तीज’ कहा जाता है, जो भाद्रपद माह की कृष्ण पक्ष की तृतीया को मनाई जाती है।
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‘कजली तीज’ (या बड़ी तीज/सातूड़ी तीज) किस माह में मनाई जाती है?
(A) श्रावण शुक्ल तृतीया
(B) भाद्रपद कृष्ण तृतीया
(C) चैत्र शुक्ल तृतीया
(D) कार्तिक कृष्ण तृतीया
‘कजली तीज’ (या बड़ी तीज/सातूड़ी तीज) भाद्रपद माह में मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद कृष्ण तृतीया।
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कजली तीज (Badi Teej, Saturi Teej) भाद्रपद (भादों) माह के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि को मनाई जाती है।
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यह त्यौहार मुख्य रूप से बूंदी (राजस्थान) में अपनी भव्य सवारी के लिए प्रसिद्ध है।
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यह पर्व भी विवाहित महिलाओं द्वारा पति की लंबी आयु और सुख-समृद्धि की कामना के लिए रखा जाता है।
तीज का वर्गीकरण :-
राजस्थान में दो प्रमुख तीज मनाई जाती हैं, जिनके बीच एक माह का अंतर होता है:
तीज का नाम तिथि माह स्थान/विशेषता छोटी तीज (हरियाली तीज) शुक्ल पक्ष तृतीया श्रावण मुख्य रूप से जयपुर की प्रसिद्ध बड़ी तीज (कजली तीज/सातूड़ी तीज) कृष्ण पक्ष तृतीया भाद्रपद मुख्य रूप से बूंदी की प्रसिद्ध -
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जैन धर्म का ‘पर्युषण पर्व’ किस माह में मनाया जाता है?
(A) चैत्र
(B) कार्तिक
(C) भाद्रपद
(D) माघ
जैन धर्म का ‘पर्युषण पर्व’ भाद्रपद माह में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (C) भाद्रपद।
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पर्युषण पर्व जैन धर्म का सबसे महत्वपूर्ण और पवित्रतम त्यौहार है।
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यह पर्व प्रतिवर्ष भाद्रपद मास में मनाया जाता है।
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यह दो संप्रदायों द्वारा अलग-अलग तिथियों में मनाया जाता है:
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श्वेताम्बर जैन इस पर्व को भाद्रपद कृष्ण त्रयोदशी से लेकर भाद्रपद शुक्ल पंचमी तक आठ दिनों के लिए मनाते हैं, जिसे अष्टान्हिका कहा जाता है।
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दिगम्बर जैन इस पर्व को भाद्रपद शुक्ल पंचमी से लेकर चतुर्दशी तक दस दिनों के लिए मनाते हैं, जिसे दसलक्षण पर्व कहा जाता है।
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इस पर्व का मुख्य उद्देश्य आत्म-शुद्धि, तपस्या, अध्ययन और क्षमा है।
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‘अक्षय तृतीया’ (आखा तीज) किस तिथि को मनाई जाती है, जिसे अबुझ सावा भी कहते हैं?
(A) वैशाख शुक्ल तृतीया
(B) वैशाख कृष्ण तृतीया
(C) चैत्र शुक्ल तृतीया
(D) कार्तिक शुक्ल तृतीया
‘अक्षय तृतीया’ (आखा तीज) वैशाख शुक्ल तृतीया तिथि को मनाई जाती है, जिसे अबुझ सावा भी कहते हैं।
सही विकल्प है: (A) वैशाख शुक्ल तृतीया।
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अक्षय तृतीया का शाब्दिक अर्थ है “जिसका कभी क्षय न हो” (कभी नष्ट न होने वाला)।
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यह त्यौहार प्रतिवर्ष वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है।
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इसे भारत के सबसे शुभ और स्वयंसिद्ध (अबुझ) मुहूर्तों में से एक माना जाता है, जिसका अर्थ है कि इस दिन किसी भी शुभ कार्य (जैसे विवाह, गृह प्रवेश, व्यापार की शुरुआत या खरीदारी) के लिए पंचांग देखने की आवश्यकता नहीं होती है।
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राजस्थान में इसे आखा तीज के नाम से भी जाना जाता है और यह विवाहों के लिए बहुत शुभ मानी जाती है।
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‘दीपावली’ का त्यौहार किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) कार्तिक शुक्ल अमावस्या
(B) कार्तिक कृष्ण अमावस्या
(C) आश्विन शुक्ल पूर्णिमा
(D) भाद्रपद अमावस्या
‘दीपावली’ का त्यौहार कार्तिक कृष्ण अमावस्या तिथि को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) कार्तिक कृष्ण अमावस्या।
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हिन्दू पंचांग के अनुसार, दीपावली का त्यौहार प्रतिवर्ष कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है।
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यह तिथि हिन्दू कैलेंडर में कृष्ण पक्ष की अंतिम तिथि होती है, जब रात सबसे काली होती है, जिस पर दीप जलाकर अमावस्या का अंधकार दूर किया जाता है।
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इस दिन मुख्य रूप से माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की पूजा की जाती है।
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‘होली’ का त्यौहार किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) चैत्र पूर्णिमा
(B) फाल्गुन पूर्णिमा
(C) माघ पूर्णिमा
(D) कार्तिक पूर्णिमा
‘होली’ का त्यौहार फाल्गुन पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) फाल्गुन पूर्णिमा।
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हिन्दू पंचांग के अनुसार, होली (होलिका दहन) का त्यौहार प्रतिवर्ष फाल्गुन मास की पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता है।
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इसके अगले दिन, चैत्र कृष्ण प्रतिपदा को रंग खेला जाता है, जिसे धुलेंडी कहा जाता है।
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‘कृष्ण जन्माष्टमी’ कब मनाई जाती है?
(A) भाद्रपद शुक्ल अष्टमी
(B) भाद्रपद कृष्ण अष्टमी
(C) श्रावण शुक्ल अष्टमी
(D) आश्विन कृष्ण अष्टमी
‘कृष्ण जन्माष्टमी’ भाद्रपद कृष्ण अष्टमी तिथि को मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद कृष्ण अष्टमी।
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हिन्दू पंचांग के अनुसार, भगवान श्री कृष्ण का जन्म भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को रोहिणी नक्षत्र में हुआ था।
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यह त्यौहार पूरे भारत में बहुत धूमधाम से मनाया जाता है।
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‘बड़ा दिन’ (क्रिसमस) किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) 1 जनवरी
(B) 14 जनवरी
(C) 25 दिसम्बर
(D) 31 दिसम्बर
‘बड़ा दिन’ (क्रिसमस) 25 दिसम्बर को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (C) 25 दिसम्बर।
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क्रिसमस (Christmas) ईसा मसीह के जन्म की खुशी में मनाया जाने वाला ईसाई धर्म का प्रमुख त्यौहार है।
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त्यौहारों का आगमन किस त्यौहार से माना जाता है?
(A) गणगौर
(B) छोटी तीज
(C) दीपावली
(D) होली
त्यौहारों का आगमन छोटी तीज से माना जाता है।
सही विकल्प है: (B) छोटी तीज।
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राजस्थान और उत्तर भारत में यह कहावत प्रचलित है : “तीज त्योंहारां बावड़ी, ले डूबी गणगौर”
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इसका अर्थ है कि छोटी तीज (श्रावण शुक्ल तृतीया) के साथ त्यौहारों का आगमन या सिलसिला शुरू होता है, और यह सिलसिला गणगौर के विसर्जन के साथ समाप्त हो जाता है।
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खंड 3: विशिष्ट त्यौहार और मेले
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बांसवाड़ा का प्रसिद्ध ‘मानगढ़ धाम मेला’ किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) मार्गशीर्ष पूर्णिमा
(B) आश्विन पूर्णिमा
(C) कार्तिक पूर्णिमा
(D) चैत्र पूर्णिमा
बांसवाड़ा का प्रसिद्ध ‘मानगढ़ धाम मेला’ (जिसे शहीदी मेला भी कहते हैं) मार्गशीर्ष पूर्णिमा (या अगहन पूर्णिमा) तिथि को आयोजित होता है।
यह तिथि वह दिन है जब गुरु गोविंद गिरी के आह्वान पर मानगढ़ पहाड़ी पर एकत्र हुए भील आदिवासियों पर अंग्रेजों ने गोलीबारी की थी (17 नवंबर, 1913)। इस बलिदान की स्मृति में यह मेला प्रतिवर्ष मार्गशीर्ष पूर्णिमा को लगता है।
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‘गौतमेश्वर मेला’ (सिरोही) किस जनजाति से संबंधित है?
(A) भील
(B) गरासिया
(C) मीणा
(D) सहरिया
‘गौतमेश्वर मेला’ (सिरोही/प्रतापगढ़) मुख्य रूप से मीणा जनजाति से संबंधित है।
सही विकल्प है: (C) मीणा।
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गौतमेश्वर महादेव (भूरिया बाबा) को मीणा जनजाति का आराध्य देव माना जाता है।
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मीणा समाज के लोग यहाँ इनकी झूठी कसम नहीं खाते हैं।
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यह मेला राजस्थान में दो प्रमुख स्थानों पर आयोजित होता है:
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सिरोही जिले के पोसालिया गाँव के पास।
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प्रतापगढ़ जिले के अरनोद में, जिसे ‘आदिवासियों का हरिद्वार’ भी कहा जाता है, जहाँ मंदाकिनी गंगा कुंड में स्नान करने और अस्थि विसर्जन की परंपरा है।
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यह मेला प्रतिवर्ष अप्रैल माह में आयोजित होता है।
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‘बादशाह का मेला’ (ब्यावर) किस त्यौहार के अवसर पर आयोजित होता है?
(A) गणगौर
(B) होली
(C) रंग तेरस (चैत्र कृष्ण त्रयोदशी)
(D) शीतलाष्टमी
‘बादशाह का मेला’ (ब्यावर, राजस्थान) होली के त्यौहार के अवसर पर आयोजित होता है।
यह मेला विशेष रूप से धुलंडी (होली खेलने का दिन, चैत्र कृष्ण प्रतिपदा) के दूसरे दिन आयोजित होता है, जो अक्सर चैत्र कृष्ण द्वितीया को पड़ता है।
दिए गए विकल्पों में, (B) होली सबसे उपयुक्त है, क्योंकि यह होली के ठीक बाद उससे संबंधित उत्सव के रूप में मनाया जाता है।
अतिरिक्त जानकारी:
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यह मेला बादशाह अकबर के नवरत्न टोडरमल अग्रवाल को मिली ‘ढाई दिन की बादशाहत’ की याद में मनाया जाता है।
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इस मेले में बादशाह की सवारी निकाली जाती है, और बीरबल (नृत्य करने वाला पात्र) मुख्य आकर्षण होता है।
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बादशाह द्वारा सवारी में लाल गुलाल (जिसे ‘खर्ची’ कहा जाता है) लुटाया जाता है, जिसे लोग अपनी तिजोरी में रखने के लिए शुभ मानते हैं।
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रणथंभौर (सवाई माधोपुर) में गणेश चतुर्थी कब मनाई जाती है?
(A) भाद्रपद कृष्ण चतुर्थी
(B) भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी
(C) श्रावण शुक्ल चतुर्थी
(D) चैत्र शुक्ल चतुर्थी
रणथंभौर (सवाई माधोपुर) में गणेश चतुर्थी भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी तिथि को मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी।
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‘गणेश चतुर्थी’ का त्यौहार पूरे भारत में, जिसमें रणथंभौर का प्रसिद्ध त्रिनेत्र गणेश मंदिर भी शामिल है, हिन्दू पंचांग के भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है।
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इस दिन त्रिनेत्र गणेश मंदिर में विशाल मेला भरता है।
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‘सीता माता मेला’ (प्रतापगढ़) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) वैशाख अमावस्या
(B) जेष्ठ अमावस्या
(C) चैत्र अमावस्या
(D) श्रावण अमावस्या
‘सीता माता मेला’ (प्रतापगढ़) ज्येष्ठ अमावस्या तिथि को आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) जेष्ठ अमावस्या।
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यह मेला प्रतापगढ़ जिले में स्थित सीता माता वन्यजीव अभयारण्य के अंदर लगता है।
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यह मेला ज्येष्ठ अमावस्या के आसपास चार दिनों के लिए आयोजित किया जाता है और इसमें राजस्थान, मध्य प्रदेश और गुजरात के श्रद्धालु बड़ी संख्या में शामिल होते हैं।
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इस स्थान को धार्मिक और प्राकृतिक सौंदर्य के लिए जाना जाता है।
नोट: राजस्थान में एक और प्रसिद्ध सीता माता से संबंधित मेला सीताबाड़ी का मेला (बारां) है, जो भी ज्येष्ठ अमावस्या को ही आयोजित होता है और यह सहरिया जनजाति का सबसे बड़ा मेला (लघु कुंभ) कहलाता है।
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‘फूलडोल महोत्सव’ किस संप्रदाय से संबंधित है?
(A) जसनाथी
(B) बिश्नोई
(C) रामस्नेही
(D) दादूपंथी
‘फूलडोल महोत्सव’ रामस्नेही संप्रदाय से संबंधित है।
सही विकल्प है: (C) रामस्नेही।
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‘फूलडोल महोत्सव’ रामस्नेही संप्रदाय का एक प्रमुख त्यौहार है, जो रंगों और भक्ति के साथ मनाया जाता है।
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इसका आयोजन प्रतिवर्ष चैत्र कृष्ण प्रतिपदा से लेकर पंचमी तक, रामस्नेही संप्रदाय की मुख्य पीठ शाहपुरा (भीलवाड़ा, राजस्थान) में किया जाता है।
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इस महोत्सव में रामस्नेही संत और अनुयायी सफेद या गुलाबी वस्त्र पहनकर राम-नाम का कीर्तन करते हैं।
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जोधपुर में आयोजित होने वाला प्रसिद्ध ‘मारवाड़ उत्सव’ किस माह में मनाया जाता है?
(A) जनवरी
(B) मार्च
(C) अक्टूबर
(D) दिसम्बर
जोधपुर में आयोजित होने वाला प्रसिद्ध ‘मारवाड़ उत्सव’ अक्टूबर माह में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (C) अक्टूबर।
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‘मारवाड़ उत्सव’, जिसे पहले ‘मांड महोत्सव’ कहा जाता था, मारवाड़ क्षेत्र की कला, संस्कृति और लोकनृत्यों को प्रदर्शित करने के लिए हर साल अक्टूबर माह में आयोजित किया जाता है।
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इस आयोजन का मुख्य केंद्र जोधपुर शहर होता है।
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‘नवरात्रि’ का त्यौहार वर्ष में कितनी बार आता है?
(A) एक बार
(B) दो बार
(C) चार बार (दो गुप्त सहित)
(D) तीन बार
‘नवरात्रि’ का त्यौहार वर्ष में चार बार आता है (दो गुप्त सहित)।
सही विकल्प है: (C) चार बार (दो गुप्त सहित)।
हिन्दू धर्म में एक वर्ष में कुल चार नवरात्रियाँ मनाई जाती हैं:
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चैत्र नवरात्रि (या वासंतिक नवरात्रि): चैत्र मास, शुक्ल पक्ष। (प्रमुख)
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शारदीय नवरात्रि (या महानवरात्रि): आश्विन/कार्तिक मास, शुक्ल पक्ष। (प्रमुख)
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माघ गुप्त नवरात्रि: माघ मास, शुक्ल पक्ष। (गुप्त)
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आषाढ़ गुप्त नवरात्रि: आषाढ़ मास, शुक्ल पक्ष। (गुप्त)
सामान्य बोलचाल में लोग केवल दो प्रमुख नवरात्रियों (चैत्र और शारदीय) का उल्लेख करते हैं, लेकिन धार्मिक और तांत्रिक परंपराओं के अनुसार चार नवरात्रियाँ आती हैं।
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मुस्लिम समाज का ‘ईदुल-जुहा’ (बकरीद) त्यौहार किस माह में आता है?
(A) मुहर्रम
(B) ज़िल हिज
(C) रमज़ान
(D) शवाल
मुस्लिम समाज का ‘ईदुल-जुहा’ (बकरीद) त्यौहार ज़िल हिज माह में आता है।
सही विकल्प है: (B) ज़िल हिज।
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ईदुल-जुहा (Eid al-Adha) या बकरीद इस्लामी कैलेंडर के अंतिम महीने ज़िल हिज (Dhu al-Hijjah) की दसवीं तारीख को मनाया जाता है।
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यह त्योहार पैगंबर इब्राहिम द्वारा अल्लाह के हुक्म पर अपने बेटे इस्माइल की कुर्बानी देने की तैयारी की याद दिलाता है।
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यह त्योहार हज यात्रा की समाप्ति के साथ जुड़ा हुआ है, जो इसी माह में होती है।
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‘गंगा दशहरा मेला’ (भरतपुर) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) वैशाख शुक्ल दशमी
(B) जेष्ठ शुक्ल दशमी
(C) श्रावण शुक्ल दशमी
(D) कार्तिक शुक्ल दशमी
‘गंगा दशहरा मेला’ (भरतपुर) ज्येष्ठ शुक्ल दशमी तिथि को आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) जेष्ठ शुक्ल दशमी।
संबंधित तथ्य –
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गंगा दशहरा का पर्व प्रतिवर्ष ज्येष्ठ (जेठ) मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है।
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धार्मिक मान्यता के अनुसार, इसी दिन देवी गंगा स्वर्ग से धरती पर अवतरित हुई थीं।
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भरतपुर जिले के कामा नामक स्थान पर इस तिथि पर विशाल मेला आयोजित किया जाता है।
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इस दिन गंगा नदी में स्नान और दान का विशेष महत्व होता है।
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खंड 4: त्यौहारों और मेलों की तिथियाँ और प्रथाएँ
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‘तेजाजी का मेला’ (परबतसर, नागौर) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) भाद्रपद कृष्ण दशमी
(B) भाद्रपद शुक्ल दशमी
(C) आश्विन शुक्ल दशमी
(D) श्रावण शुक्ल दशमी
‘तेजाजी का मेला’ (परबतसर, नागौर) भाद्रपद शुक्ल दशमी तिथि को आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद शुक्ल दशमी।
संबंधित तथ्य –
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यह मेला वीर तेजाजी की स्मृति में आयोजित किया जाता है और इसे ‘तेजा दशमी’ के नाम से भी जाना जाता है।
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परबतसर (नागौर) में लगने वाला यह मेला पशु मेला के रूप में प्रसिद्ध है और इसे राजस्थान के सबसे बड़े पशु मेलों में से एक माना जाता है।
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लोक देवता तेजाजी का जन्म भाद्रपद शुक्ल दशमी को नहीं हुआ था, बल्कि इस तिथि को उनका बलिदान दिवस (बलिदान स्थल सुरसुरा, किशनगढ़) माना जाता है, इसलिए इसे ‘तेजा दशमी’ कहते हैं।
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‘शीतलाष्टमी’ का त्यौहार किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) चैत्र कृष्ण अष्टमी
(B) चैत्र शुक्ल अष्टमी
(C) फाल्गुन कृष्ण अष्टमी
(D) वैशाख कृष्ण अष्टमी
‘शीतलाष्टमी’ का त्यौहार चैत्र कृष्ण अष्टमी तिथि को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (A) चैत्र कृष्ण अष्टमी।
संबंधित तथ्य –
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शीतलाष्टमी होली के आठ दिन बाद चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी को मनाया जाता है।
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इस दिन माता शीतला देवी की पूजा की जाती है।
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यह त्यौहार मुख्य रूप से बास्योड़ा (Basyoda) या बसौड़ा के नाम से प्रसिद्ध है, क्योंकि इस दिन घरों में चूल्हा नहीं जलाया जाता है और केवल एक दिन पहले बना हुआ बासी भोजन (ठंडा भोजन) ही खाया जाता है।
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राजस्थान में शीतला माता का मुख्य मंदिर चाकसू (जयपुर) के पास स्थित सील की डूंगरी पर है।
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‘जलझूलनी एकादशी’ कब मनाई जाती है?
(A) श्रावण शुक्ल एकादशी
(B) भाद्रपद शुक्ल एकादशी
(C) कार्तिक शुक्ल एकादशी
(D) चैत्र शुक्ल एकादशी
‘जलझूलनी एकादशी’ भाद्रपद शुक्ल एकादशी तिथि को मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद शुक्ल एकादशी।
संबंधित तथ्य –
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इसे डोल ग्यारस (Dol Gyaras) या परिवर्तिनी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है।
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इस दिन भगवान विष्णु के बाल रूप (कृष्ण या राम) की मूर्ति को विमानों में बैठाकर जलाशय तक ले जाया जाता है और उन्हें स्नान कराया जाता है (झूला झुलाया जाता है)।
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यह त्यौहार मुख्य रूप से मेवाड़ क्षेत्र में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है।
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‘देव उठनी एकादशी’ कब मनाई जाती है, जब विवाह आदि शुभ कार्य प्रारंभ हो जाते हैं?
(A) आश्विन शुक्ल एकादशी
(B) भाद्रपद शुक्ल एकादशी
(C) कार्तिक शुक्ल एकादशी
(D) माघ शुक्ल एकादशी
‘देव उठनी एकादशी’ कार्तिक शुक्ल एकादशी तिथि को मनाई जाती है, जिसके बाद विवाह आदि शुभ कार्य प्रारंभ हो जाते हैं।
सही विकल्प है: (C) कार्तिक शुक्ल एकादशी।
संबंधित तथ्य –
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इसे देवोत्थान एकादशी या प्रबोधिनी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है।
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धार्मिक मान्यता के अनुसार, इस दिन भगवान विष्णु चार महीने की योग निद्रा (शयन) से जागते हैं, जिसे ‘चातुर्मास’ की समाप्ति माना जाता है।
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चातुर्मास की अवधि में सभी प्रकार के मांगलिक कार्य (जैसे विवाह, मुंडन, गृह प्रवेश आदि) वर्जित होते हैं, और देव उठनी एकादशी के साथ ही ये सभी शुभ कार्य फिर से शुरू हो जाते हैं।
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‘अन्नकूट महोत्सव’ किस मंदिर में और किस त्यौहार के अगले दिन मनाया जाता है?
(A) गोविन्द देव जी, दीपावली
(B) नाथद्वारा (राजसमंद), दीपावली
(C) खाटू श्याम जी, होली
(D) करणी माता, नवरात्रा
‘अन्नकूट महोत्सव’ नाथद्वारा (राजसमंद) में दीपावली के अगले दिन मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) नाथद्वारा (राजसमंद), दीपावली।
अन्नकूट महोत्सव
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स्थान और मंदिर: यह उत्सव राजस्थान के नाथद्वारा (राजसमंद) स्थित श्रीनाथजी मंदिर का एक प्रमुख आयोजन है।
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तिथि: यह पर्व दीपावली के अगले दिन, यानी कार्तिक शुक्ल प्रतिपदा को मनाया जाता है। यह दिन गोवर्धन पूजा के रूप में भी जाना जाता है।
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विशेषता: इस दिन श्रीनाथजी को विभिन्न प्रकार के अन्न, सब्जियाँ और मिठाइयों से बना एक विशाल भोग (अन्नकूट) चढ़ाया जाता है। इस भोग को बाद में भील जनजाति के लोगों में बाँटने की परंपरा है।
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हिन्दुओं द्वारा किस माह में पितरों का तर्पण करने के लिए ‘श्राद्ध पक्ष’ मनाया जाता है?
(A) श्रावण
(B) भाद्रपद
(C) आश्विन
(D) कार्तिक
हिन्दुओं द्वारा पितरों का तर्पण करने के लिए ‘श्राद्ध पक्ष’ मुख्य रूप से आश्विन माह में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (C) आश्विन।
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श्राद्ध पक्ष (या पितृ पक्ष) भाद्रपद पूर्णिमा से शुरू होकर आश्विन अमावस्या तक चलता है।
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चूँकि इसका अधिकांश भाग आश्विन मास में पड़ता है और इसकी समाप्ति भी इसी माह की अमावस्या (सर्वपितृ अमावस्या) को होती है, इसलिए इसे आश्विन माह से संबंधित माना जाता है।
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यह 16 दिन की अवधि पितरों को समर्पित होती है, जब उनके मोक्ष और शांति के लिए तर्पण और पिंडदान किया जाता है।
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‘गुरु पूर्णिमा’ किस तिथि को मनाई जाती है?
(A) वैशाख पूर्णिमा
(B) कार्तिक पूर्णिमा
(C) आषाढ़ पूर्णिमा
(D) माघ पूर्णिमा
‘गुरु पूर्णिमा’ आषाढ़ पूर्णिमा तिथि को मनाई जाती है।
सही विकल्प है: (C) आषाढ़ पूर्णिमा।
गुरु पूर्णिमा का महत्व –
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हिन्दू पंचांग के अनुसार, गुरु पूर्णिमा का पर्व प्रतिवर्ष आषाढ़ मास की पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता है।
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यह दिन महर्षि वेदव्यास के जन्मदिन के रूप में भी मनाया जाता है, जिन्होंने वेदों का संपादन किया और महाभारत की रचना की।
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इस दिन शिष्य अपने गुरुओं के प्रति श्रद्धा व्यक्त करते हैं और उनका आशीर्वाद प्राप्त करते हैं।
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ईसाइयों का ‘गुड फ्राइडे’ किस त्यौहार से पूर्व आता है?
(A) क्रिसमस
(B) ईस्टर
(C) थैंक्सगिविंग
(D) हैलोवीन
ईसाइयों का ‘गुड फ्राइडे’ ईस्टर त्यौहार से पूर्व आता है।
सही विकल्प है: (B) ईस्टर।
संबंधित तथ्य –
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गुड फ्राइडे वह दिन है जब ईसा मसीह को सूली पर चढ़ाया गया था।
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ईस्टर वह दिन है जब सूली पर चढ़ाए जाने के तीन दिन बाद ईसा मसीह फिर से जी उठे थे।
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गुड फ्राइडे हमेशा ईस्टर संडे से ठीक पहले वाले शुक्रवार को आता है।
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‘बछबारस’ का त्यौहार किस तिथि को मनाया जाता है?
(A) श्रावण शुक्ल द्वादशी
(B) भाद्रपद कृष्ण द्वादशी
(C) कार्तिक शुक्ल द्वादशी
(D) चैत्र कृष्ण द्वादशी
‘बछबारस’ का त्यौहार भाद्रपद कृष्ण द्वादशी तिथि को मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद कृष्ण द्वादशी।
बछबारस –
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बछबारस (Vats Dwadashi) भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की द्वादशी (बारस) तिथि को मनाया जाता है।
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इस दिन माताएं अपने पुत्रों की लंबी उम्र और मंगल कामना के लिए व्रत रखती हैं।
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इस पर्व पर गाय और उसके बछड़े की पूजा की जाती है। इस दिन चाकू से कटी हुई वस्तुएं, अनाज (जैसे गेहूँ) और गाय का दूध (गाय की पूजा के कारण) का सेवन वर्जित होता है।
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यह त्यौहार दीपावली से पहले आने वाले गोवत्स द्वादशी से अलग होता है, लेकिन दोनों में ही गाय और बछड़े की पूजा होती है।
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‘मीरा महोत्सव’ (चित्तौड़गढ़) किस तिथि को आयोजित होता है?
(A) चैत्र पूर्णिमा
(B) आश्विन पूर्णिमा
(C) कार्तिक पूर्णिमा
(D) माघ पूर्णिमा
‘मीरा महोत्सव’ (चित्तौड़गढ़) आश्विन पूर्णिमा तिथि को आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) आश्विन पूर्णिमा।
मीरा महोत्सव –
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मीरा महोत्सव राजस्थान के चित्तौड़गढ़ जिले में भक्तिमती मीरा बाई की स्मृति में आयोजित किया जाता है।
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यह उत्सव प्रतिवर्ष आश्विन (क्वार) मास की पूर्णिमा को, जिसे शरद पूर्णिमा भी कहते हैं, मनाया जाता है।
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इस महोत्सव में मीरां की भक्ति और काव्य को समर्पित सांस्कृतिक कार्यक्रम होते हैं।
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मीरा बाई को कृष्ण भक्ति की महान कवयित्री के रूप में जाना जाता है।
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खंड 5: अन्य विविध मेले और त्यौहार
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‘मरु महोत्सव’ कहाँ मनाया जाता है?
(A) बीकानेर
(B) जैसलमेर
(C) जोधपुर
(D) बाड़मेर
‘मरु महोत्सव’ जैसलमेर में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) जैसलमेर।
मरु महोत्सव (Desert Festival) –
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स्थान: यह राजस्थान के जैसलमेर जिले में, विशेष रूप से सम के रेतीले धोरों पर, मनाया जाता है।
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समय: इसका आयोजन प्रतिवर्ष जनवरी-फरवरी माह (माघ शुक्ल पूर्णिमा के आसपास) में किया जाता है।
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विशेषता: यह उत्सव रेगिस्तानी संस्कृति, लोक नृत्य, संगीत, ऊँट की दौड़, पगड़ी बाँधने की प्रतियोगिता और ‘मिस मूमल’ जैसी प्रतियोगिताओं का प्रदर्शन करता है।
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भ्रम निवारण:
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मरु महोत्सव
जैसलमेर
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ऊँट महोत्सव
बीकानेर
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मारवाड़ उत्सव
जोधपुर
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‘थार महोत्सव’ कहाँ मनाया जाता है?
(A) जैसलमेर
(B) बाड़मेर
(C) जोधपुर
(D) बीकानेर
‘थार महोत्सव’ बाड़मेर में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) बाड़मेर।
थार महोत्सव –
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थार महोत्सव राजस्थान के बाड़मेर जिले में आयोजित होने वाला एक सांस्कृतिक उत्सव है।
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यह उत्सव थार रेगिस्तान की समृद्ध कला, लोक संगीत, नृत्य और पारंपरिक वेशभूषा को प्रदर्शित करता है।
ध्यान दें: राजस्थान के प्रमुख मरुस्थलीय उत्सव हैं:
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थार महोत्सव
बाड़मेर
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मरु महोत्सव
जैसलमेर
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ऊँट महोत्सव
बीकानेर
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हाथी महोत्सव कहाँ मनाया जाता है?
(A) जयपुर
(B) उदयपुर
(C) कोटा
(D) अलवर
हाथी महोत्सव जयपुर में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (A) जयपुर।
हाथी महोत्सव (Elephant Festival) –
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हाथी महोत्सव (Elephant Festival) राजस्थान के जयपुर में आयोजित होने वाला एक वार्षिक उत्सव है।
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यह उत्सव मुख्य रूप से फाल्गुन पूर्णिमा (होली के आसपास) के दिन आयोजित किया जाता था।
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इस महोत्सव में हाथियों को सुंदर ढंग से सजाया जाता है और उनकी परेड, हाथी पोलो, और हाथी-घुड़दौड़ जैसे कार्यक्रम आयोजित किए जाते थे।
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यह त्यौहार पर्यटकों के बीच बहुत लोकप्रिय था, लेकिन कुछ वर्षों से हाथी कल्याण से जुड़े कारणों से इसका आयोजन सीमित या बंद कर दिया गया है।
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‘चंद्रभागा पशु मेला’ (झालरापाटन) किस जिले में भरता है?
(A) बारां
(B) कोटा
(C) झालावाड़
(D) बूंदी
‘चंद्रभागा पशु मेला’ (झालरापाटन) झालावाड़ जिले में भरता है।
सही विकल्प है: (C) झालावाड़।
चंद्रभागा पशु मेला –
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स्थान: यह मेला झालरापाटन में चंद्रभागा नदी के तट पर आयोजित होता है, जो राजस्थान के झालावाड़ जिले में स्थित है। 🏞️
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समय: यह प्रतिवर्ष कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर लगता है।
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विशेषता: यह राजस्थान के सबसे बड़े पशु मेलों में से एक है, जहाँ मालवी नस्ल के पशुओं का क्रय-विक्रय मुख्य रूप से होता है।
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‘रामदेवरा मेला’ (जैसलमेर) किस माह में आयोजित होता है?
(A) श्रावण
(B) भाद्रपद
(C) आश्विन
(D) कार्तिक
‘रामदेवरा मेला’ (जैसलमेर) भाद्रपद माह में आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (B) भाद्रपद।
रामदेवरा मेला (रामदेवजी का मेला) –
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स्थान: रामदेवरा गाँव (पोकरण के पास), जैसलमेर जिला, राजस्थान।
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समय: यह मेला भाद्रपद शुक्ल द्वितीया (बाबेरी बीज) से शुरू होकर एकादशी तक आयोजित होता है। यह भाद्रपद माह का सबसे बड़ा आकर्षण होता है।
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विशेषता: यह मेला लोक देवता बाबा रामदेवजी की स्मृति में भरता है, जिन्हें हिन्दू और मुस्लिम दोनों समुदायों द्वारा पूजा जाता है (मुस्लिम इन्हें रामसा पीर कहते हैं)। यह राजस्थान में सांप्रदायिक सद्भाव का सबसे बड़ा प्रतीक है। 🕊️
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इस मेले में दूर-दूर से श्रद्धालु (जातरु) पैदल यात्रा करके पहुँचते हैं।
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राजस्थान का वह मेला जहाँ सर्वाधिक संख्या में भील जनजाति के लोग आते हैं, जिसे ‘आदिवासियों का कुंभ’ कहते हैं?
(A) गोतमेश्वर मेला
(B) सीताबाड़ी मेला
(C) बेणेश्वर मेला
(D) मानगढ़ धाम मेला
राजस्थान का वह मेला जहाँ सर्वाधिक संख्या में भील जनजाति के लोग आते हैं, जिसे ‘आदिवासियों का कुंभ’ कहते हैं, वह है बेणेश्वर मेला।
सही विकल्प है: (C) बेणेश्वर मेला।
बेणेश्वर मेला (आदिवासियों का कुंभ)
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स्थान: बेणेश्वर धाम, नवाटापरा गाँव (डूंगरपुर)।
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नदियाँ: यह मेला सोम, माही और जाखम नदियों के संगम पर आयोजित होता है (त्रिवेणी संगम)।
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तिथि: प्रतिवर्ष माघ पूर्णिमा को आयोजित होता है।
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विशेषता: यह मेला मुख्य रूप से भील जनजाति का सबसे बड़ा धार्मिक समागम है, इसीलिए इसे ‘आदिवासियों का कुंभ’ कहा जाता है। भील समुदाय के लोग यहाँ अपने दिवंगत पूर्वजों की अस्थियों का विसर्जन करते हैं।
अन्य संबंधित मेले –
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(A) गौतमेश्वर मेला: यह मुख्य रूप से मीणा जनजाति से संबंधित है।
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(B) सीताबाड़ी मेला: यह मुख्य रूप से सहरिया जनजाति का सबसे बड़ा मेला है, जिसे ‘सहरियाओं का कुंभ’ कहते हैं।
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(D) मानगढ़ धाम मेला: यह भील आदिवासियों के बलिदान दिवस (मार्गशीर्ष पूर्णिमा) की याद में आयोजित होता है।
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किस त्यौहार के दिन नीम के वृक्ष की पूजा की जाती है?
(A) गणगौर
(B) शीतलाष्टमी
(C) नाग पंचमी
(D) छोटी तीज
नीम के वृक्ष की पूजा शीतलाष्टमी के दिन की जाती है।
सही विकल्प है: (B) शीतलाष्टमी।
शीतलाष्टमी और नीम की पूजा –
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शीतला माता को चेचक (छोटी माता) और अन्य संक्रामक रोगों की देवी माना जाता है।
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शीतला माता का वाहन गधा है और इनका प्रिय वृक्ष नीम है।
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नीम को शीतलता प्रदान करने वाला और संक्रमण को दूर करने वाला माना जाता है, इसलिए शीतलाष्टमी के दिन माता की पूजा के साथ-साथ नीम के वृक्ष की पूजा और परिक्रमा भी की जाती है।
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यह त्यौहार चैत्र कृष्ण अष्टमी को मनाया जाता है।
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‘बांसवाड़ा’ का प्रसिद्ध ‘दिवाली मेला’ कब आयोजित होता है?
(A) चैत्र पूर्णिमा
(B) फाल्गुन पूर्णिमा
(C) कार्तिक अमावस्या
(D) वैशाख पूर्णिमा
‘बांसवाड़ा’ का प्रसिद्ध ‘दिवाली मेला’ कार्तिक अमावस्या को आयोजित होता है।
सही विकल्प है: (C) कार्तिक अमावस्या।
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‘दिवाली मेला’ नाम से स्पष्ट है कि यह दीपावली के अवसर पर आयोजित होता है।
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हिन्दू पंचांग के अनुसार, दीपावली का त्यौहार प्रतिवर्ष कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है।
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बांसवाड़ा में दीपावली के अवसर पर श्रीमाल समाज के महालक्ष्मी मंदिर में विशेष पूजा-अर्चना और अनुष्ठान होते हैं, जिसके आसपास यह मेला लगता है।
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मुस्लिम समाज का ‘मोहर्रम’ त्यौहार किस की याद में मनाया जाता है?
(A) पैगम्बर मोहम्मद
(B) हज़रत इमाम हुसैन
(C) ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती
(D) हज़रत अली
मुस्लिम समाज का ‘मोहर्रम’ त्यौहार हज़रत इमाम हुसैन की याद में मनाया जाता है।
सही विकल्प है: (B) हज़रत इमाम हुसैन।
मोहर्रम का महत्व –
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इमाम हुसैन: वह हज़रत अली के बेटे और पैगंबर मोहम्मद के नाती थे।
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घटना: मोहर्रम (इस्लामी कैलेंडर का पहला महीना) की 10 तारीख को कर्बला (इराक) में हज़रत इमाम हुसैन और उनके साथियों को शहीद कर दिया गया था।
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उत्सव नहीं, शोक: शिया मुस्लिम समुदाय इसे एक पर्व या उत्सव के रूप में नहीं, बल्कि शहादत और बलिदान के शोक के रूप में मनाता है।
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ताज़िया: इस दौरान इमाम हुसैन के रौज़े (मकबरे) की प्रतिकृतियाँ (ताज़िया) निकाली जाती हैं, जो उनकी अंतिम यात्रा का प्रतीक होती हैं।
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हिन्दू कैलेंडर के अनुसार, नववर्ष किस तिथि को प्रारंभ होता है?
(A) कार्तिक शुक्ल प्रतिपदा
(B) चैत्र शुक्ल प्रतिपदा
(C) श्रावण शुक्ल प्रतिपदा
(D) वैशाख शुक्ल प्रतिपदा
हिन्दू कैलेंडर के अनुसार, नववर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा तिथि को प्रारंभ होता है।
सही विकल्प है: (B) चैत्र शुक्ल प्रतिपदा।
हिन्दू नववर्ष –
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तिथि: इस तिथि को गुड़ी पड़वा (महाराष्ट्र में), उगादि (दक्षिण भारत में), और नवरात्रि का पहला दिन भी माना जाता है।
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विक्रम संवत: यह तिथि भारतीय विक्रम संवत (Vikram Samvat) कैलेंडर के नए साल की शुरुआत का प्रतीक है।
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बसंत ऋतु: यह नववर्ष प्रायः मार्च या अप्रैल माह में बसंत ऋतु के आगमन पर आता है।
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महत्व: इसी दिन सृष्टि के रचयिता ब्रह्मा ने सृष्टि की रचना आरंभ की थी, ऐसी मान्यता है।
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